न्यूज़ अपडेट – शेयर 2.78% उछलकर ₹48.50 पर पहुँच गए, ओला इलेक्ट्रिक के शेयरों में तेजी

ओला इलेक्ट्रिक के शेयरों में तेजी, क्यों?
सोमवार, 25 अगस्त 2025 को सुबह के सत्र में Ola Electric Mobility के शेयर 2.78% उछलकर ₹48.50 पर पहुँच गए। सुबह 10:03 बजे तक यह स्टॉक NIFTY MIDCAP 150 के टॉप गेनर्स में शामिल था।
यह बढ़त ऐसे समय पर आई है जब भारत का इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर बाज़ार (E-2W) ज़्यादा प्रतिस्पर्धी होता जा रहा है और ओला अपने कृष्णगिरि गीगाफैक्ट्री में बैटरी सेल निर्माण की दिशा में नए मील के पत्थर हासिल कर रही है।
ओला इलेक्ट्रिक का सपना और फ़ैक्ट्री
ओला इलेक्ट्रिक आज भारत की सबसे बड़ी इलेक्ट्रिक स्कूटर निर्माता कंपनी है। इसकी Futurefactory, तमिलनाडु लगभग 500 एकड़ में फैली है और यहाँ महिलाओं की बहुलता वाली वर्कफ़ोर्स काम करती है।
कंपनी का लक्ष्य सिर्फ स्कूटर तक सीमित नहीं है—भविष्य में मोटरसाइकिल और कारें भी लॉन्च करने की योजना है। इसके साथ-साथ, ओला ने बैटरी सेल निर्माण में भी बड़ा दांव लगाया है ताकि लागत घटे, क्वालिटी सुधरे और सप्लाई चेन पर नियंत्रण मिल सके।
FY24: तेज़ ग्रोथ लेकिन घाटा बरकरार
- राजस्व: ₹5,009 करोड़ (90% YoY ग्रोथ)
- घाटा: ₹1,584 करोड़ (FY23 के ₹1,472 करोड़ से बढ़ा)
- कुल खर्च: ₹6,277 करोड़
कंपनी ने घाटा बढ़ने की वजह बताई—विस्तार, R&D और नई कैपेसिटी पर भारी निवेश। अक्टूबर 2023 में, ओला ने ₹3,200 करोड़ जुटाए, जिसमें Temasek और SBI शामिल थे।
👉 विस्तार की यह रणनीति बताती है कि ओला अभी “ग्रोथ मोड” में है, लेकिन शॉर्ट-टर्म प्रॉफिटेबिलिटी अभी दूर है।
EV मार्केट में ओला की स्थिति
भारत में 2024 में 20 लाख से अधिक EVs बिके, जिनमें से लगभग 60% टू-व्हीलर थे【JMK Research】।
लेकिन मार्केट शेयर की लड़ाई कड़ी है:
- अप्रैल 2025: ओला ~22%
- मई 2025: ओला ~20%
- उसी समय, TVS ~25% और Bajaj ~22.6% के साथ आगे निकल गए【Economic Times】।
सरकारी सब्सिडी और नीतियाँ
- FAME-II योजना (2019): ₹10,000 करोड़ का बजट, 86% डिमांड इंसेंटिव पर।
- EMPS 2024: अप्रैल-जुलाई 2024 तक ₹500 करोड़ का बजट, लेकिन सब्सिडी घटकर सिर्फ ₹10,000 प्रति ई-स्कूटर रह गई।
👉 यानी अब कंपनियों और ग्राहकों दोनों को कीमत और वैल्यू का नया संतुलन खोजना होगा।
ओला का गीगाफैक्ट्री और बैटरी मिशन
ओला की सबसे बड़ी रणनीति है अपनी ही बैटरी सेल बनाना।
- Gigafactory, कृष्णगिरि – मार्च 2024 से 1.4 GWh क्षमता
- अप्रैल 2025 तक: 6.4 GWh
- जून 2026 तक: 20 GWh क्षमता
- लंबा लक्ष्य: 100 GWh क्षमता
ओला का बैटरी इनोवेशन सेंटर नई टेक्नोलॉजी 4680 सिलिंड्रिकल सेल पर काम कर रहा है, जो ज़्यादा एनर्जी डेंसिटी और बेहतर परफ़ॉर्मेंस देंगे।
हालांकि, ओला को PLI स्कीम के पहले माइलस्टोन में देरी पर IFCI ने नोटिस भेजा है और ₹12.5 लाख/दिन का पेनल्टी भी लागू किया गया है【Economic Times】।
अवसर बनाम चुनौतियाँ
अवसर:
- अगर ओला FY26 तक कमर्शियल सेल प्रोडक्शन शुरू कर पाती है, तो लागत घटेगी और मार्केट में लचीलापन बढ़ेगा।
चुनौतियाँ:
- देरी से PLI इंसेंटिव खोने का खतरा।
- नकद घाटा और बढ़ेगा।
- TVS, Bajaj, Tata, Exide जैसे प्रतिस्पर्धी और मज़बूत बनेंगे।
नतीजा
ओला इलेक्ट्रिक की कहानी आज एक “हाई-रिस्क, हाई-रिवार्ड” स्टेज पर है।
स्टॉक में हाल की 2.78% की तेजी निवेशकों की उम्मीदों को दिखाती है, लेकिन असली कसौटी यही है कि—
👉 क्या ओला समय पर अपनी गीगाफैक्ट्री क्षमता और PLI माइलस्टोन पूरे कर पाती है?
👉 क्या कंपनी अपने स्कूटर और भविष्य के मोटरसाइकिल/कार प्रोडक्ट्स में बैटरी सेल इंटीग्रेशन का फायदा उठा पाएगी?